नेपाल के प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल ‘प्रचंड’ इस समय चीन के दौरे पर हैं। इस बीच नेपाली प्रधानमंत्री ने चीन के राष्ट्रपति से मिलकर दोनों देशों के विकास के मुद्दों पर बात की।
नेपाल के प्रधानमंत्री पुष्प कमल हांगझू एशियाई खेलों के लिए चीन आए हुए हैं। इस यात्रा में उन्होंने शनिवार को चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मुलाकात की।
चीनी राष्ट्रपति ने नेपाल के बुनियादी ढांचे के विकास के साथ कनेक्टिविटी सुविधाओं को भी बेहतर बनाने में मदद की बात कही और वादा किया कि वह चीन से घिरे नेपाल को चीन से जोड़ेंगे।
नेपाल और चाइना के बीच कनेक्टिविटी बढ़ाने के लिए ट्रांस-हिमालयन कनेक्टिविटी प्रोजेक्ट पर काम किया जायेगा।
इस दौरे में प्रचंड के साथ बैठक के दौरान जिनपिंग ने कहा कि दोनों देशों ने ‘ट्रांस-हिमालयन मल्टी-डायमेंशनल कनेक्टिविटी नेटवर्क’ सहित कई और परियोजनाओं में सफलता हासिल की है।
अंतर्राष्ट्रीय मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, तिब्बत तथा नेपाल के मध्य बीहड़ इलाके हैं। ऐसे में दोनों देशों के मध्य कनेक्टिविटी बढ़ाने के लिए ट्रांस-हिमालयन कनेक्टिविटी प्रोजेक्ट पर काम किया जायेगा। जिसके तहत सड़क और रेल नेटवर्क का विकास किया जाएगा।+
BRI प्रोजेक्ट को आगे बढ़ाने के लिए तैयार हुआ नेपाल, चीन में प्रधानमंत्री प्रचंड ने किया ऐलान.. भारत को झटका!#nepal #China #International #internationalnewshttps://t.co/M7UX2Ex8xU
— Oneindia Hindi (@oneindiaHindi) September 24, 2023
गौरतलब है कि प्रचंड पिछले वर्ष के अंत में प्रधानमंत्री बने है और तबसे यह उनका पहला चीनी दौरा है। इससे पूर्व प्रचंड भारत और अमेरिका का दौरा कर चुके हैं।
ख़बरों के मुताबिक़ चीन नेपाल की भारत से निर्भरता घटाना चाहता है। दरअसल नेपाल का अधिकांश आयात भारत से हो रहा है। चीन नेपाल में अपना विस्तार करने के प्रयास कर रहा है। इस बीच नेपाल में कई चीनी परियोजनाएं अटकी हुईं हैं, जिसमें बुनियादी ढांचों का विकास भी शामिल है।
प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल ‘प्रचंड’ 30 सितंबर को काठमांडू लौटेंगे।