पाकिस्तान में जमाअतुद्दावा के प्रमुख और मुंबई हमलों के योजनाकार हाफ़िज़ सईद ने अपनी संभावित गिरफत़ारी से बचने के लिए लाहौर हाई कोर्ट का दरवाज़ा खटखटाया है।
हाफ़िज़ सईद ने हाई कोर्ट में एक याचिका दायर की है जिसमें कहा गया है कि शुक्रवार 26 जनवरी को संयुक्त राष्ट्र संघ का प्रतिनिधिमंडल पाकिस्तान के दौरे पर आ रहा है और प्रतिनिधिमंडल के पाकिस्तान में प्रवास के दौरान सरकार उनके ख़िलाफ़ कठोर कार्यवाही करने का इरादा रखती है।
हाफ़िज़ सईद के वकील ने कहा कि उनके मुवक्किल जमाअतुद्दावा संगठन तथा फ़लाहे इंसानियत फ़ाउंडेशन के संस्थापक हैं और वह देश भर में 142 स्कूलों और 3 विश्वविद्यालयों के साथ साथ लंबे समय से कल्याणकारी गतिविधियों में व्यस्त हैं।
वकील ने कहा कि पंजाब सरकार ने पब्लिक आर्डर आर्डिनेन्स के तहत याचीकर्ता को 90 दिन के लिए हिरासत में रखा था लेकिन हाई कोर्ट के जजों पर आधारित पुनरसमीक्षा बोर्ड ने उचित तर्क उपलब्ध कराने में अक्षमता के बाद हाफ़िज़ सईद की नज़रबंदी की अवधि बढ़ाने की सरकार की मांग को ख़ारिज कर दिया गया था।
वकील ने आरोप लगाया कि सरकार ने अमरीका और भारत के इशारे पर याचीकर्ता के ख़िलाफ़ कार्यवाही की जिनको यह भ्रम है कि हाफ़िज़ सईद किसी न किसी तरह मुंबई हमलों में लिप्त हैं।
वकील ने अदालत से मांग की कि वह सरकार को निर्देश दे कि संयुक्त राष्ट्र संघ के प्रतिनिधिमंडल की यात्रा के दौरान याचीकर्ता के ख़िलाफ़ गिरफ़तारी सहित किसी भी प्रकार की कार्यवाही न की जाए।