कांग्रेस के दो दिवसीय अधिवेशन के दूसरे दिन कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने एक बार फिर से जाति जनगणना का मुद्दा उठाया। यह अधिवेशन गुजरात के अहमदाबाद में साबरमती नदी के तट पर हुआ।
राहुल गाँधी का कहना है कि सभी को पता होना चाहिए कि देश में कितने दलित, पिछड़े, आदिवासी, अल्पसंख्यक और गरीब सामान्य वर्ग के लोग हैं। उन्होंने यह भी पता लगाने की बात कही कि देश में किसकी कितनी भागीदारी है।
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकर्जुन खड़गे ने देश में ईवीएम के बजाय बैलट पेपर से चुनाव कराने की अपील की और यह भी कहा कि बीजेपी ने महाराष्ट्र का चुनाव फ़र्जीवाड़ा करके जीता।
कांग्रेस अध्यक्ष ने अपने सम्बोधन में कहा कि देश की अर्थव्यवस्था में एकाधिकार लादा जा रहा है और सार्वजनिक संपत्ति को निजी हाथों को सौंपा जा रहा है। उनके अनुसार, नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार में सत्ताधारी पार्टी संविधान पर लगातार चोट कर रही है।
कांग्रेस अधिवेशन में राहुल गांधी ने कहा कि मोदी जी ने साफ़ कह दिया कि वे जातिगत जनगणना नहीं कराएंगे। इस पर राहुल ने यह काम नहीं किए जाने पर संसद में जातिगत जनगणना का कानून पास करने की बात कही। उन्होंने तेलंगाना मेंजातिगत जनगणना के हवाले से क्रांतिकारी कदम उठाए जाने की बात कही।
बताते चलें कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ जाति आधारित जनगणना को समर्थन देने के संकेत दे चुका है। संघ के के अनुसार इसका इस्तेमाल पिछड़ रहे समुदाय और जातियों के कल्याण के लिए होना चाहिए। संघ इसे सरकार की कल्याणकारी योजनाओं के लिए मददगार मानती है। साथ ही वह इसे चुनावी फ़ायदे के लिए प्रयोग किए जाने को बुरा मानती है।
अधिवेशन में मल्लिकार्जुन खड़गे ने चुनाव आयोग के सरकार के नियंत्रण में होने की बात कही ईवीएम के बजाय बैलट पेपर से चुनाव कराने की अपील की। भाजपा के महाराष्ट्र में जीते गए चुनाव को फ़र्जीवाड़ा उन्होंने कहा कि ऐसा चुनावी फ़र्जीवाड़ा इससे पहले कभी नहीं हुआ था।
यद् दिला दें कि पिछले साल नवंबर में होने वाले महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को केवल 15 सीटें मिली थीं जबकि भाजपा को 132 सीटें। शिवसेना के साथ मिलकर यहाँ एकनाथ शिंदे ने सरकार बनाई थी।
इस चुनाव में राहुल गांधी ने लोकसभा चुनाव के लिए पांच साल में महाराष्ट्र में 32 लाख मतदाता होने की बात कही जबकि पांच महीने बाद विधानसभा चुनाव के लिए मतदात की संख्या 39 लाख होने पर उन्होंने सवाल उठाए। राहुल ने इस पर सवाल किया था किआख़िर पांच महीने में पांच साल से ज्यादा वोटर्स कैसे जोड़े गए?