समूचे उत्तर भारत के कई हिस्सों में बीती रात भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। इस भूकंप का केंद्र अफगानिस्तान के हिन्दू कुश इलाके में बताया जा रहा है। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 6.6 मापी गई। इस भूकंप का असर पाकिस्तान, तजाकिस्तान और चीन में भी रहा।
इस भूकंप ने तुर्की के भूकंप की यादों को ताज़ा कर दिया और उत्तर भारत के अधिकतर परिवारों की नींद उड़ा दी। मंगलवार रात 10 बजकर 20 मिनट पर आने वाले इस भूकंप से लोगों में दहशत का माहौल था। लोग घरों से बाहर निकल आए। राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र से प्राप्त जानकारी के मुताबिक़ अफगानिस्तान के फैजाबाद से 133 किलोमीटर दक्षिण पूर्व में 6.6 तीव्रता के इस भूकंप में किसी भी प्रकार के जान-माल के नुकसान की कोई खबर नहीं मिली है। पूर्वी अफगानिस्तान पिछले साल आए 6.1 तीव्रता के भूकंप में करीब 1000 लोगों की जान चली गई थी।
#WATCH जम्मू-कश्मीर: भूकंप के तेज झटके महसूस किए जाने के बाद श्रीनगर में लोग अपने घरों से बाहर निकल आए। उत्तर भारत के कई हिस्सों में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। pic.twitter.com/2WErugAmOq
— ANI_HindiNews (@AHindinews) March 21, 2023
यूरोपियन-मेडिटेरेनियन सीस्मोलॉजिकल सेंटर के मुताबिक़ मंगलवार शाम उत्तरी अफगानिस्तान में 6.5 तीव्रता का भूकंप आया। इस भूकंप की गहराई 194 किलोमीटर जबकि इसका केंद्र सुदूर उत्तरी अफगान प्रांत बदख्शां के पास हिंदू कुश पर्वत श्रृंखला में था।
भूकंप का खतरा भारतीय उपमहाद्वीप में हर जगह है। भूकंप के क्षेत्र के आधार पर देश को चार हिस्सों में बांटा गया है जिन्हे जोन-2, जोन-3, जोन-4 तथा जोन-5 से जानते हैं। इनमे जोन 2 सबसे कम खतरे वाला तथा जोन-5 को सर्वाधिक खतनाक जोन माना जाता है।
जोन-5 में उत्तर-पूर्व के सभी राज्य, जम्मू-कश्मीर, उत्तराखंड तथा हिमाचल प्रदेश के कुछ हिस्से ही आते हैं। उत्तराखंड के कम ऊंचाई वाले हिस्सों से लेकर उत्तर प्रदेश के ज्यादातर हिस्से तथा दिल्ली जोन-4 में आते हैं। मध्य भारत अपेक्षाकृत कम खतरे वाले हिस्से जोन-3 में आता है, जबकि दक्षिण के ज्यादातर हिस्से सीमित खतरे वाले जोन-2 में आते हैं।