हिंडनबर्ग रिसर्च के फाउंडर नाथन एंडरसन ने अपनी फर्म बंद करने का एलान किया है। इस संस्था के माध्यम से उन्होंने गौतम अडानी सहित जैक डोर्सी और कार्ल इकान जैसी अरबपति हस्तियों को लेकर विवादित और चर्चित रिपोर्ट्स प्रकाशित कीं।
फर्म की वेबसाइट पर जारी एक पत्र के ज़रिये एंडरसन ने इस निर्णय को लेकर कोई खास वजह नहीं बताई है। उनका कहना है कि यह कोई स्वास्थ्य समस्या, खतरा या व्यक्तिगत मुद्दा नहीं है।
एंडरसन ने सोशल मीडिया साइट एक्स पर पोस्ट करके अपनी संघर्ष यात्रा, उपलब्धियां और टीम के योगदान को याद किया। उनके मुताबिक़, अगले 6 महीनों में वे अपनी रिसर्च प्रक्रिया को ओपन-सोर्स करेंगे और टीम के भविष्य पर ध्यान केंद्रित करेंगे।
दुनिया भर में अपनी रिपोर्ट्स के लिए मशहूर शॉर्ट सेलर नाथन एंडरसन ने अपनी फर्म हिंडनबर्ग रिसर्च को बंद करने की घोषणा कर दी है। एंडरसन ने एक भावुक पत्र के माध्यम से अपने संघर्ष, टीम वर्क और उपलब्धियों का जिक्र किया।
गौरतलब है कि हिंडनबर्ग रिसर्च रिपोर्ट्स ने अडानी ग्रुप सहित कई बड़ी हस्तियों और संस्थाओं को कटघरे में ला दिया था। इन रिपोर्ट्स के कारण वैश्विक वित्तीय बाजारों ने भारी हलचल का सामना किया था। अडानी ग्रुप ने इन आरोपों का विरोध किया, इसके बावजूद उनकी कंपनियों की मार्केट वैल्यू को भारी नुकसान उठाना पड़ा।
एक लंबे भावुक पत्र के माध्यम से नाथन एंडरसन ने अपने संघर्ष, टीम वर्क और उपलब्धियों का विस्तार से जिक्र किया। उनका कहना है कि जो लक्ष्य उन्होंने निर्धारित किए थे, उन्हें पूरा करने के बाद अब इसे समाप्त करने का समय आ गया है। उन्होंने बताया कि यह निर्णय उन्होंने पिछले साल के अंत में ही अपने परिवार और टीम के साथ साझा कर लिया था।
अपने चुनौतियों भरे दिनों को याद करते हुए उनका कहना था कि शुरुआत में उनके पास पैसे नहीं थे। शुरुआती तीन मुकदमों के बाद उनकी आर्थिक स्थिति और खराब हो गई थी। उनके साथ नवजात बच्चा था और उन्हें बेदखली का सामना करना पड़ रहा था।
अपने पत्र में नाथन एंडरसन ने लिखा- “मैं हिंडनबर्ग को अपने जीवन का एक अध्याय मानता हूं, न कि ऐसा केंद्र जो मुझे परिभाषित करता है।” इस सफर को रोमांचभरा बताते हुए आगे वह अपने जीवन के अन्य पहलुओं पर ध्यान केंद्रित करने की बात कहते हैं।
एंडरसन ने इस अपने व्हिसलब्लोअर वकील ब्रायन वुड का आभार प्रकट करते हुए कहा कि उन्होंने बिना किसी वित्तीय सहायता के उनकी मदद की। अपनी टीम की सराहना करते हुए एंडरसन का कहना था कि 11 अद्भुत लोगों की टीम ने सटीकता और प्रमाणिकता को प्राथमिकता देते हुए महत्वपूर्ण धोखाधड़ियों को उजागर किया।
याद दिला दें कि जनवरी 2023 में गौतम अडानी के खिलाफ प्रकाशित हिंडनबर्ग रिपोर्ट ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर हलचल मचाई थी। इस रिपोर्ट में अदाणी ग्रुप पर “कॉरपोरेट इतिहास का सबसे बड़ा घोटाला” करने का आरोप लगाया गया। इसके बाद जैक डोर्सी की ब्लॉक इंक और कार्ल इकान की इकान एंटरप्राइजेज पर भी रिपोर्ट सामने आई।
इन रिपोर्ट्स के नतीजे में तीनों अरबपतियों को कुल 99 अरब डॉलर की गिरावट का सामना करना पड़ा। इस बीच अडानी ग्रुप की कंपनियों की मार्केट वैल्यू में भी 173 अरब डॉलर का नुकसान हुआ।
अगस्त 2024 में एंडरसन द्वारा सेबी चेयरपर्सन माधबी पुरी बुच और उनके पति पर विदेशी फंड्स के जरिए अदाणी ग्रुप में पैसों की हेराफेरी का आरोप लगाया।
टीम के भविष्य पर एंडरसन का कहना है कि कुछ सदस्य अपनी रिसर्च फर्म शुरू करेंगे, जबकि कुछ स्वतंत्र एजेंट के रूप में काम करेंगे। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि उनकी टीम के सदस्य न केवल प्रतिभाशाली हैं, बल्कि केंद्रित और समर्पित भी हैं।