नई दिल्ली : विधानसभा चुनाव के दौरान कोड ऑफ कंडक्ट का उल्लंघन करने के मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी संयोजक अरविंद केजरीवाल के खिलाफ FIR का ऑर्डर हुआ है। Election commission
विवादित भाषण को लेकर निर्वाचन आयोग ने यह आदेश दिया है। केजरीवाल ने जनवरी के पहले हफ्ते में गोवा की एक चुनावी सभा के दौरान मतदाताओं से कहा था, “कांग्रेस और बीजेपी से पैसे लें मगर वोट आप को ही दे।
कांग्रेस और बीजेपी के लोग उन्हें पैसे देने आएंगे।
महंगाई को ध्यान में रखते हुए लोगों को उनसे 5000 की जगह 10000 रुपये मांगने चाहिए, वह भी नए नोटों में।”
इस बयान के लिए आयोग ने केजरीवाल को चेतावनी दी थी। हालांकि आयोग के फैसले को गलत बताते हुए केजरीवाल ने फिर अपना बयान दोहराया था।
उन्होंने इस मामले कोलेकर कोर्ट में जाने की बात भी कही थी। केजरीवाल ने कहा था, “वह (आयोग) उनको अपना ब्रांड एम्बेसडर बना ले।” केजरीवाल ने इस जवाब की कॉपी सोशल मीडिया में भी शेयर की थी।
केजरीवाल लिखा था, आयोग पिछले 70 सालों से चुनाव में पैसे का चलन को रोकने की नाकाम कोशिश कर रहा है। मेरे इस बयान से कि, दूसरी पार्टी वाले पैसे देंगे, ले लेना।
लेकिन वोट झाड़ू को देना से रिश्वतखोरी बंद होगी। उन्होंने लिखा, इस बयान को अगर आयोग अपना ले और इसका प्रचार करे तो दो साल में सभी पार्टियां पैसा बांटना बंद कर देंगी।
इससे पहले पिछले हफ्ते आयोग ने केजरीवाल को रिश्वत संबंधी टिप्पणी के लिए फटकार लगाई थी। आयोग ने वॉर्निंग दी कि अगर केजरीवाल ऐसे ही कोड ऑफ कंडक्ट का उल्लंघन जारी रखते हैं तो कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
आप की मान्यता को सस्पेंड या खत्म करने की कार्रवाई भी की जा सकती है। केजरीवाल ने आयोग के इस फैसले को गलत बताते हुए शनिवार को ही कहा था कि वे इसके खिलाफ अपील करेंगे। 16 जनवरी को आयोग ने केजरीवाल को कारण बताओं नोटिस जारी किया था।