केप टाउन: दक्षिण अफ्रीका में वैज्ञानिकों ने दीमक के टीले खोजे हैं जिनमें दीमक अभी भी जीवित हैं। ये टीले 30 हज़ार वर्ष से अधिक पुराने हैं, जिससे अंदाज़ा होता है कि ये अब तक खोजे गए सबसे पुराने सक्रिय दीमकों के टीले हैं।
स्टेलनबोश यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं के अनुसार, दक्षिण अफ्रीका के नेमाक्वालैंड नगर पालिका में बहने वाली बफैलोस नदी के पास कुछ टीले हैं, जो रेडियोकार्बन डेटिंग के बाद 34,000 साल पुराने पाए गए हैं।
शोध टीम के प्रमुख और वरिष्ठ व्याख्याता मिशेल फ्रांसिस का कहना है कि शोधकर्ताओं को पता था कि वे बूढ़े थे, लेकिन यह नहीं पता था कि वे इतने बूढ़े थे।
एपी की ख़बरों के मुताबिक़, शोधकर्ताओं ने नमूने लेने के लिए सावधानी बरतते हुए टीले के कुछ हिस्सों की खुदाई की। बाद में दीमकों को सुरक्षित रखने के लिए इस टीम को टीलों को फिर से निर्मित करना पड़ा।
यहां कुछ सबसे बड़े टीलों की गहराई करीब 10 फीट है। स्थानीय भाषा में इन्हें ‘छोटी पहाड़ियां’ कहा जाता है। स्थानीय लोगों का कहना है कि यहाँ के लोगों को नहीं पता कि ये बहुत खास और प्राचीन जगहें है, जो यहां संरक्षित हैं।
मिशेल ने कहा कि ये टीले तब भी मौजूद थे जब घुमावदार दांतों वाली बिल्लियाँ और मैमथ पृथ्वी के अन्य हिस्सों में मौजूद थे और यूरोप और एशिया के बड़े हिस्से बर्फ से ढके हुए थे।
अतीत में, दीमक टीलों के कुछ अवशेष भी खोजे गए हैं, जो लाखों साल पहले के बताए जा रहे हैं। हालाँकि, दक्षिण अफ्रीका में खोजे गए टीलों से पहले, सबसे पुराने सक्रिय टीले ब्राज़ील में खोजे गए थे जो लगभग 4000 वर्ष पुराने हैं और इन्हें अंतरिक्ष से देखा जा सकता है।
शोध टीम के मुताबिक़, दीमक और उनके टीले जलवायु परिवर्तन, सस्टेनेबल ईको सिस्टम और यहां तक कि खेती के तौर-तरीके बेहतर बनाने से जुड़़े कई अहम सबक दे सकते हैं।
टीम का कहना है कि दीमकों के टीलों पर और शोध किए जाने की जरूरत है। इस अध्ययन से ये खुलासा हो सकेगा कि दीमकों ने अपने टीलों के साथ क्या खास किया है। हालाँकि उनके मुताबिक़ इसे पहले खासा उबाऊ माना जाता था।