सुप्रीम कोर्ट ने कोलकाता रेप-मर्डर मामले में सुप्रीम कोर्ट के अनुरोध के बाद भी जूनियर डॉक्टरों ने अपना आंदोलन जारी रखने की बात कही है।
शीर्ष अदालत द्वारा कल सुनवाई के बाद डॉक्टरों को आज शाम पांच बचे तक काम पर लौटने की बात कही गई थी।
पश्चिम बंगाल में कोलकाता रेप-मर्डर मामले में आंदोलनकारी जूनियर डॉक्टरोंका कहना है कि वे न्याय की मांग को लेकर अपना ‘काम बंद’ जारी रखेंगे।
आदेश में अदालत ने यह भी कहा है कि यदि आदेश का पालन नहीं किया गया, तो राज्य सरकार डॉक्टरों के खिलाफ उचित कार्रवाई कर सकती है।
जूनियर डॉक्टर्स की मांग है कि जब तक उन्हें और पीड़ित को न्याय नहीं मिल जाता, वे काम पर लौटने को तैयार नहीं हैं। उन्होंने सरकार को शाम 5 बजे तक अपनी मांगें मानने का समय दिया है।
हड़ताल कर रहे डॉक्टरों की मांग है कि राज्य के स्वास्थ्य सचिव और स्वास्थ्य शिक्षा निदेशक इस्तीफा दें। हड़ताली डॉक्टर आज साल्ट लेक स्थित स्वास्थ्य विभाग के मुख्यालय ‘स्वास्थ्य भवन’ तक एक रैली भी निकाल रहे हैं।
कोलकाता के सरकारी आरजी कर मेडिकल कॉलेज तथा अस्पताल में पोस्टग्रेजुएट ट्रेनी के साथ ड्यूटी के दौरान कथित बलात्कार और उसकी हत्या किये जाने की घटना से पूरे देश में आक्रोश है।
बीते एक माह से सरकारी अस्पतालों में जूनियर डॉक्टर ‘काम बंद’ के तहत हड़ताल पर हैं। हालाँकि सुप्रीम कोर्ट ने हड़ताली डॉक्टरों को राज्य सरकार की प्रतिकूल कार्रवाई से बचने के लिए आज शाम 5 बजे तक अपनी ड्यूटी पर लौटने का अनुरोध किया था।
सुप्रीम कोर्ट ने यह निर्देश पश्चिम बंगाल सरकार द्वारा यह आश्वासन दिए जाने के बाद दिया था कि अगर प्रदर्शनकारी डॉक्टर काम पर लौटते हैं तो उनके खिलाफ किसी तरह की कार्रवाई नहीं की जाएगी।
इस आंदोलन को एक जन-आंदोलन करार देते हुए डॉक्टर्स कह रहे हैं कि इसे लेकर सरकार और सुप्रीम कोर्ट को गंभीरता से सोचना चाहिए।