मशरिक़ न्यूज़ की रिपोर्ट के अनुसार सऊदी न्यूज़ वेबसाइट “सबक़” ने अपनी रिपोर्ट जिसका शीर्षक “दूसरे दौर के आरम्भ के साथ ही… नए हिटलर का घमंड तुर्की को वित्ती और सुरक्षा पतन की तरफ़ ले जाएगा” है में तुर्की के राष्ट्रपति रजब तैय्यब एर्दोग़ान की दोबारा जीत के बारे में लिखा है।
इस सऊदी वेबसाइट ने एर्दोगान को हिटलर बताया, और इस प्रकार उन पर तुर्की में डिक्टेटरशिप का आरोप लगाया है।
इस सऊदी वेबसाइट ने दावा किया है कि क्षेत्र में शत्रु बनाने की एर्दोगान की नीति के कारण लीरा की कीमत गिरी है।
इस वेबसाइट ने अपनी रिपोर्ट में एक रिपोर्ट को दस्तावेज़ बनाया है जिसको स्काई न्यूज़ अरबी ने जारी किया है।
स्काई न्यूज़ अरबी चैनल ने राजनीतिक विश्लेषक फहद दीबाजी के हवाले से कहाः जूलाई 2016 यानी 77 हज़ार के करीब लोगों को जेल में डालने और 1 लाख 70 हज़ार से अधिक नौकरी पेशा लोगों को नौकरी से निकालने या फिर निलंबित करने वाला अपने विरोधियों के मुकाबले में एर्दौगान का घमंड और अहंकार से भरा व्यवहार बताता है कि एर्दौगान नए ज़माने के हिटलर बन चुके हैं। यह सारी चीज़ें बर्फ़ का वह गोला हैं जो दिन ब दिन बढ़ता जा रहा है, और अच्छे बुरे सभी को एक साथ जला रहा है, विशेषकर हर दिन उनके विरोधियों और नफरत करने वालों की संख्या बढ़ रही है।
सऊदी वेबसाइट की रिपोर्ट और उसकी हेडिंग ने सोशल मीडिया पर उबाल ला दिया है, और सोशल मीडिया यूज़र्स ने उसको एक भड़काऊ कदम बताया है जिसका मकसद उन देशों के संबंधों को तोड़ना है जिसका सऊदी अरब से गहरा सबंध है।
यूज़र्स का कहना हैः सऊदी अरब द्वारा आदिकारिक रूप से एर्दोगान की जीत पर मुबारकबाद देने के कुछ दिनों बाद इस खबर का प्रकाशित होना सवाल खड़े करता है।
इस रिपोर्ट के अनुसार, सरकार से करीब अधिकतर सऊदी मीडिया लगभर हर दिन एर्दोगान और तुर्की सरकार के विरुद्ध कुछ न कुछ लिखते हैं, और उनको आतंकवादी गतिविधियों से जोड़ते हैं।