नीट पेपर लीक मामले में एनटीए ने 110 अभ्यर्थियों पर कड़ी कार्रवाई की है। मामले में बिहार पुलिस ने भी बड़ी साजिश का खुलासा किया है।
रविवार को केंद्रीय जांच ब्यूरो ने नीट यूजी परीक्षा में कथित अनियमितताओं की पड़ताल का चार्ज संभाल लिया है। सीबीआई ने जांच के लिए अपनी टीमों को कई राज्यों में रवाना किया है। इस मामले में एफआईआर भी दर्ज की गई है।
बिहार पुलिस ने भी मामले में एक्शन लिया। उनकी आर्थिक अपराध इकाई ने नीट पेपर लीक मामले में पांच लोगों को गिरफ्तार किया है। इस मामले में राज्य में अभीतक कुल 18 गिरफ्तारियां हो चुकी हैं।
दूसरी तरफ कई प्रतियोगी परीक्षाओं को रद्द करने और स्थगित करने को लेकर आलोचना झेल रही एनटीए ने भी 17 छात्रों को बिहार के केंद्रों से निष्कासित कर दिया है। मामले में एनटीए अब तक कुल 110 छात्रों पर बड़ी कार्रवाई कर चुका है।
री एग्जाम में शामिल हुए आधे छात्र
रविवार को उन 1,563 छात्रों का री एग्जाम था जिन्हें 5 मई को परीक्षा शुरू होने में देरी के कारण छह केंद्रों पर टाइम की भरपाई के लिए एनटीए द्वारा ग्रेस मार्क्स दिए गए थे। इनमें से केवल 813 छात्र परीक्षा देने पहुंचे।
छह केंद्रों से सम्बंधित इन छात्रों पर आरोप था कि इनके अंकों में इजाफा हुआ था। हरियाणा के एक ही केंद्र से ग्रेस मार्क वाले उम्मीदवारों को पूरे 720 अंक दिए गए थे जबकि नीट यूजी परीक्षा में 67 छात्रों को पूरे नंबर दिए गए थे।
छात्रों को दिया आश्वासन
अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद के अध्यक्ष प्रोफेसर टीजी सीतारम ने नीट यूजी मामले में छात्रों को सम्बोधित करते हुए कहा- “पूरे मुद्दे ने छात्रों को बहुत पीड़ा पहुंचाई है। भारत सरकार अच्छी तरह से जानती है कि छात्रों को किन मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है, इसे देखते हुए कड़े कदम उठाए जा रहे हैं।”
आगे उन्होंने इस परीक्षा को उच्चतम स्तर की पारदर्शिता और शुचिता के साथ आयोजित करने की बात कही और छात्रों को आश्वासन दिया कि एनटीए प्रमुख को बदल दिया गया है, जल्द ही पुन परीक्षा आयोजित की जाएगी।
सीबीआई ने दर्ज की एफआईआर
बताते चलें कि नीट यूजी मामले में सीबीआई ने धारा 20-बी (आपराधिक साजिश) और 420 (धोखाधड़ी) के तहत एफआईआर दर्ज की है। गुजरात और बिहार सरकारों ने भी अपनी पुलिस द्वारा दर्ज किए गए नीट यूजी पेपर लीक विवाद को सीबीआई को स्थानांतरित करने के लिए रविवार को एक अधिसूचना जारी की।
रविवार शाम पटना पुलिस ने झारखंड से पांच लोगों को गिरफ्तार किया है। ये सभी आरोपी नालंदा के निवासी हैं। इनके नाम बलदेव कुमार, मुकेश कुमार, पिंकू कुमार, राजीव कुमार और परमजीत सिंह हैं।
बयान से पता चला है कि संजीव कुमार उर्फ लुटन मुखिया गिरोह से जुड़े बलदेव कुमार को कथित तौर पर परीक्षा से एक दिन पहले अपने मोबाइल फोन पर पीडीएफ फॉर्मेट में एनईईटी-यूजी परीक्षा की हल की गई आंसर शीट प्राप्त हो गई थी।
जांचकर्ताओं को पटना के एक सुरक्षित घर से आंशिक रूप से जला हुआ प्रश्न पत्र बरामद हुआ है। उन्होंने पेपर का राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी (एनटीए) द्वारा प्रदान किए गए संदर्भ प्रश्न पत्र से मिलान किया है, जिससे पेपर लीक की पुष्टि होती है। पुलिस के बयान के मुताबिक़ नीट-यूजी प्रश्न पत्र झारखंड के हजारीबाग के एक निजी स्कूल से मुखिया गिरोह द्वारा प्राप्त किया गया था।
अभ्यर्थियों पर कार्रवाई
शनिवार को उसने गुजरात के गोधरा के 30 छात्रों को परीक्षा से वंचित कर दिया। उसके बाद 17 और अभ्यर्थियों को परीक्षा से बाहर कर दिया गया है, जिससे जिन अभ्यर्थियों पर कार्रवाई की गई उनकी कुल संख्या 110 हो गई है। एनटीए ने कहा, “प्राप्त जानकारी के आधार पर, बिहार के केंद्रों से परीक्षा देने वाले 17 उम्मीदवारों को परीक्षा से बाहर कर दिया गया। इससे इस साल परीक्षा से वंचित किए गए कुल उम्मीदवारों की संख्या 110 हो गई है।”
पैनल का नेतृत्व करेंगे पूर्व इसरो प्रमुख
बताते चलें कि परीक्षा सुधारों पर सुझाव देने और एनटीए के कामकाज की समीक्षा के लिए गठित केंद्र सरकार का उच्च स्तरीय पैनल सोमवार को बैठक करेगा। इसका नेतृत्व इसरो के पूर्व प्रमुख के राधाकृष्णन कर रहे हैं।