मानवाधिकार पर ह्यूमन राइट्स वॉच ने दुनिया के करीब 100 देशों पर अपनी सालाना रिपोर्ट प्रकाशित की है। ह्यूमन राइट्स वॉच की रिपोर्ट में मोदी सरकार पर अल्पसंख्यकों की अनदेखी का आरोप लगाया गया है।
ह्यूमन राइट्स वॉच वर्ल्ड रिपोर्ट 2024 के मुताबिक़ भारत सरकार पर कई आरोप लगाए हैं। इसमें सरकार पर मजहबी अल्पसंख्यकों की अनदेखी के अलावा उनके उत्पीड़न का भी ज़िक्र किया गया है।
गौरतलब है कि ह्यूमन राइट्स वॉच मानवाधिकार से सम्बंधित दुनिया के करीब 100 देशों पर अपनी वार्षिक रिपोर्ट प्रकाशित करता है। इस रिपोर्ट में मानवाधिकार और इससे सम्बंधित तमाम पहलूओं को शामिल किया जाता है।
भारत में अल्पसंख्यकों और मानवाधिकारों को लेकर ह्यूमन राइट्स वॉच की 'वर्ल्ड रिपोर्ट 2024' में क्या कहा गया है? pic.twitter.com/JwZxQ1Qmbz
— BBC News Hindi (@BBCHindi) January 12, 2024
ह्यूमन राइट्स वॉच के मुताबिक़, भारत वैश्विक नेतृत्व का दंभ भरता है, लेकिन लोकतंत्र वाले देश में अधिकारों के सम्मान को लेकर भारत सरकार का रवैया कमजोर रहा है।
ह्यूमन राइट्स वॉच ने अपनी इस रिपोर्ट में भारत सरकार को भाजपा सरकार के बजाय हिंदूवादी सरकार लिखा है। रिपोर्ट बताती है कि भारत में साल 2023 में मानवाधिकारों को दबाया गया है साथ ही लोगों के उत्पीड़न की कई घटनाएं सामने आई हैं।
ह्यूमन राइट्स वॉच की 'वर्ल्ड रिपोर्ट 2024' में भारत में मानवाधिकार को लेकर कई गंभीर आरोप https://t.co/bOR55XMyBK
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740 पन्नों की इस रिपोर्ट में मणिपुर हिंसा, जम्मू कश्मीर के अलावा जंतर मंतर पर महिला पहलवानों के विरोध का वर्णन भी दर्ज है। इसके अलावा बीबीसी के दफ्तर में पड़ने वाले छापे तथा नूंह हिंसा की चर्चा की गई है।