लखनऊ.यूपी विधानसभा में PETN एक्सप्लोसिव मिलने के बाद सिक्युरिटी का हर एंगल से रिव्यू किया जा रहा है। इसी के मद्देनजर शुक्रवार की रात और शनिवार को एटीएस की टीम ने विधानसभा के सिक्युरिटी इंतजामों की जांच की।
पता चला कि सदन के अंदर लगे 6 CCTV कैमरों को सेशन शुरू होने से महज आधे घंटे पहले ही चालू किया जाता है। इनमें से पांच कैमरों से नजर रखी जाती है, जबकि एक कैमरे से रिकॉर्डिंग की जाती है। उधर, इस मामले में जांच एजेंसियों की राडार पर 9 विधायक और 40 अफसर और कर्मचारी हैं। अब तक एसपी के विधायक मनोज पांडेय समेत 16 लोगों से पूछताछ की जा चुकी है। सिक्युरिटी में बड़ी चूक सामने आई…
– एटीएस की जांच में शनिवर को विधानसभा की सुरक्षा में हो रही बड़ी चूक का सामने आई है। जांच में पता चला है कि सदन के अंदर लगे कैमरों को बंद रखा जाता है, जबकि सुरक्षा के लिहाजा से कैमरों को 24 घंटे चालू रहना चाहिए। अंदर लगे छह CCTV कैमरों को सेशन शुरू होने से महज आधा घंटे पहले ही शुरू किया जाता है। उससे पहले सदन के अंदर कौन आया, कौन गया इस बात की जानकारी इन कैमरों से नहीं हो सकती। यही वजह है कि एक्सप्लोसिव मिलने के तीन दिन बीत जाने के बाद भी एटीएस अभी तक किसी नतीजे पर नहीं पहुंच सकी है।
– सूत्रों का कहना है कि उसे कुछ फैक्ट्स हाथ जरूर लगे हैं, जिनके सहारे वह मामले की तह तक जाने में लगी है।
15 कर्मचारियों से हुई पूछताछ, 23 कैमरे खंगाले गए
– नेता विपक्ष रामगोविंद चौधरी के पीछे एक सीट छोड़कर विस्फोटक पदार्थ मिला था। ऐसे में उस सीट के आसपास बैठने वाले 9 विधायकों से सुरक्षा एजेंसियां पूछताछ में जुटी हुई हैं। शनिवार को एटीएस ने एसपी विधायक मनोज पांडेय से उनके आवास पर 15 मिनट पूछताछ की।