नई दिल्ली। नरेंद्र मोदी ने बिजनेस और बैंकिंग के क्षेत्र में भारत की गिरती रैंकिंग पर केंद्र और राज्य के अफसरों को स्टडी एनालिसिस करने को कहा है। इसको लेकर उन्होंने अफसरों से रिपोर्ट मांगी है। बता दें कि वर्ल्ड बैंक की ओर से जारी ‘ईज ऑफ डूइंग बिजनेस’ नाम से आई रिपोर्ट में भारत को 190 देशों में 130वीं पायदान पर रखा गया है। पिछले साल भारत 131वें नंबर पर था। साथ ही रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत ने कंस्ट्रक्शन परमिशन, कर्ज हासिल करने और दूसरे मामलो में मामूली या कोई सुधार नहीं किया है। world bank report
प्रगति (प्रो-एक्टिव गवर्नेंस एंड टाइमली इम्प्लीमेंटेशन) की हर महीने होने वाली मीटिंग में अफसरों के साथ मोदी रूबरू हुए तो उन्होंने सभी चीफ सेक्रेटरीज और सेक्रेटरीज को रिपोर्ट की स्टडी और उसका एनालिसिस करने के लिए कहा। साथ ही ये भी कहा कि ऐसे राज्यों और विभागों का पता लगाया जाए जहां और बेहतर काम किया जा सकता है। उन्होंने केंद्र और राज्य के अफसरों के साथ स्कीम्स के लागू करने को लेकर चर्चा की। मोदी ने अफसरों से कहा कि रिफॉर्म्स को हर डिपार्टमेंट में लागू किया जाना चाहिए। इंडस्ट्री मिनिस्टर निर्मला सीतारमण ने कहा कि केंद्र और राज्यों के रिफॉर्म्स को सही तरीके से लागू नहीं किया गया। इसी के चलते भारत की रैंकिंग कम रही।
डूइंग बिजनेस लिस्ट में न्यूजीलैंड पहले नंबर पर है। इस लिस्ट में पिछले साल भी भारत 130वीं पायदान पर था और इस बार भी। हालांकि, बाद में इसमें सुधार करके 131 कर दिया गया। यानी इस बार एक पायदान का सुधार हुआ है। भारत सरकार ने रैंकिंग में खास सुधार नहीं होने पर निराशा जताई है। उसने कहा है कि रिपोर्ट में उन 12 अहम सुधारों पर गौर नहीं किया गया जिसे सरकार कर रही है। सरकार का टारगेट देश को टॉप-50 में लाना है।
अलग-अलग मामलों में भारत की रैंकिंग
1. बिजनेस में आसानी में – 130
2. बिजनेस शुरू करने में – 139
3. कंस्ट्रक्शन परमिशन में – 135
4. बिजली पाने में – 122
5. प्रॉपर्टी की रजिस्ट्री में – 103
6. कर्ज हासिल करने में – 118
7. माइनोरिटी इन्वेस्टर्स के इंटरेस्ट का ख्याल रखने में – 145
8. टैक्स अदायगी में – 67
9. सीमापार व्यापार में – 134
10. कॉन्ट्रैक्ट्स पर अमल में – 127
11. इनसॉल्वेंसी रिजॉल्व करने में – 143
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