वाशिंगटन : व्हाइट हाउस के प्रेस सचिव सीन स्पाइसर ने अपने उस ‘‘असंवेदनशील’’ टिप्पणी के लिए खेद व्यक्त किया है जिसमें उन्होंने कहा था कि नाजी तानाशाह एडोल्फ हिटलर ने अपने लोगों के उच्च स्तर पर रासायनिक हथियारों का इस्तेमाल नहीं किया था। Spean spicer
प्रेस सचिव ने संवाददाता सम्मेलन में यह बात कही थी। स्पाइसर ने कल सीएनएन से कहा, ‘‘ईमानदारी से कहूं मैंने गलती से जनसंहार के बारे में अनुपयुक्त और असंवेदनशील टिप्पणी की थी और इसकी कोई तुलना नहीं है।
उन्होंने कहा, ‘‘इसके लिए मैं खेद व्यक्त करता हूं। ऐसा करना एक गलती थी।
वहीं दूसरी ओर अमेरिका के रक्षामंत्री जिम मेटिस ने कहा है कि अगर सीरिया रासायनिक हथियारों का दोबारा इस्तेमाल करता है तो उसे ‘‘बेहद भारी कीमत’’ चुकानी पड़ेगी।
इसके साथ ही मेटिस ने जोर देकर कहा कि सीरिया में अमेरिका की शीर्ष प्राथमिकता इस्लामिक स्टेट आतंकी समूह से लड़ते रहने की है।
मेटिस ने रक्षा प्रमुख के तौर पर पेंटागन में अपने पहले संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘यदि वे रासायनिक हथियारों का इस्तेमाल करते हैं तो उन्हें बेहद भारी कीमत चुकानी होगी।
मेटिस ने रूस के आरोपों के बावजूद पिछले सप्ताह सीरिया में किए गए अमेरिकी मिसाइल हमलों का बचाव किया। रूस का आरोप है कि अमेरिका सीरिया प्रशासन द्वारा रासयानिक हथियारों के इस्तेमाल की फर्जी कहानी गढ़ रहा है।
मेटिस ने कहा, ‘‘पिछले मंगलवार यानी चार अप्रैल को सीरियाई प्रशासन ने रासयानिक हथियारों का इस्तेमाल कर अपने ही लोगों पर हमला बोला।
मैंने खुफिया जानकारी की खुद समीक्षा की है और इस बात में कोई संदेह नहीं है कि हमले के फैसले और हमले के लिए सीरिया प्रशासन जिम्मेदार है।
उन्होंने कहा, ‘‘हमले के जवाब में हमारी सरकार ने राष्ट्रपति को कूटनीतिक एवं सैन्य विकल्पों की सिफारिश करने के लिए राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद के नेतृत्व में एक विस्तृत प्रक्रिया शुरू की।
हमने कई दिनों तक बैठकें कीं और मैंने अपने कुछ सहयोगियों से बात की। मेटिस ने कहा, ‘‘हमने तय किया कि एक नपा तुला सैन्य जवाब प्रशासन को ऐसा दोबारा करने से रोकने का सर्वश्रेष्ठ तरीका होगा।
हमेशा की तरह, हमने इस बात को आंका कि हमला करने के दौरान नागरिकों को हताहत होने से कैसे बचाया जा सकता है। हमारे कदम सफल रहे।’