लाहौर. कांग्रेस नेता और पंजाब सरकार में कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू करतारपुर कॉरिडोर के उद्घाटन समारोह में हिस्सा लेने के लिए मंगलवार को लाहौर पहुंचे। सिद्धू ने पिछली यात्रा के दौरान पाक आर्मी चीफ जनरल कमर जावेद बाजवा से गले मिलने पर सफाई दी। सिद्धू ने कहा कि बाजवा से झप्पी एक सेकंड की थी, यह कोई राफेल डील नहीं थी। जब दो पंजाबी मिलते हैं, वे भावनात्मक रूप से गले लगते हैं।
सिद्धू ने कहा, ‘यह कॉरिडोर एक ब्रिज की तरह होगा जो दोनों देशों के बीच दुश्मनी खत्म करेगा। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान 28 नवंबर को करतारपुर कॉरिडोर का उद्घाटन करेंगे। मुझे विश्वास है कि इस कॉरिडोर से लोगों के बीच आपसी संपर्क बढ़ेगा और दोनों देशो में शांति आएगी। इस कॉरिडोर में शांति, समृद्धि और व्यापारिक रिश्ते सुधारने की व्यापक संभावनाएं हैं।’
सिद्धू अगस्त में इमरान के शपथ ग्रहण समारोह में हिस्सा लेने पाक गए थे। यहां बाजवा से गले मिले थे। इस पर भाजपा ने सिद्धू और कांग्रेस पर निशाना साधा था। भाजपा का आरोप था कि बाजवा भारत में होने वाली जवानों की शहादत के लिए जिम्मेदार हैं। यहां आतंकी हमलों में नागरिकों की मौत के लिए जिम्मेदार हैं। लेकिन इसके बावजूद सिद्धू बाजवा से गले लगे।
पाकिस्तान सरकार की ओर से विदेश मंत्री सुषमा स्वराज, पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह और नवजोत सिंह सिद्धू को उद्घाटन में आने का न्योता भेजा था। सुषमा स्वराज ने व्यस्तता का हवाला देते हुए समारोह में हिस्सा लेने से मना कर दिया। हालांकि, इस कार्यक्रम में केंद्रीय मंत्री हरसिमरत कौर बादल एवं एच एस पुरी भारत का प्रतिनिधित्व करेंगे।
अमरिंदर सिंह ने कहा था कि जब तक पाकिस्तान भारत में आतंकी भेजना और सीमा पार से फायरिंग बंद नहीं करता, तब तक उससे बातचीत नहीं की जा सकती। हालांकि, उन्होंने कहा था कि कॉरिडोर के निर्माण के बाद जो पहला जत्था करतारपुर के लिए रवाना होगा उसमें वे जरूर हिस्सा लेंगे।