ईटानगर। अरुणाचल प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कलिखो पुल का शव उनके घर में पंखे से लटका मिला है। 47 साल के कलिखो पुल के खुदकुशी का संदेह जताया जा रहा है। कलिखो पुल 4.5 महीने तक अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे थे। कालिखो कांग्रेस से बगावत कर फरवरी 2016 में बीजेपी के समर्थन से अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री बने थे। लेकिन सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद जुलाई में उन्हें पद से हटना पड़ा था। वो मुख्यमंत्री पद छोड़ने के बावजूद अब भी सीएम बंगले में ही रह रहे थे। माना जा रहा है कि कलिखो मुख्यमंत्री पद से हटाए जाने के बाद से ही डिप्रेशन में थे।
कलिखो पुल 1995 के बाद से लगातार 5 बार विधानसभा चुनाव जीते और गेगांग अपांग की सरकार में वित्त मंत्री रहे। कलिखो पुल पांच बच्चों के पिता थे। वे बहुत छोटे से समुदाय कमान मिश्मी से आते थे। इस समुदाय में बमुश्किल 2,500 लोग ही हैं। कलिखो पुल ने कम उम्र में अपने माता-पिता को खो दिया था। वे अपना घर चलाने के लिए फर्नीचर बनाते थे।
पुल के समर्थकों ने मुख्यमंत्री पेमा खांडू के नीति बिहार स्थित आवास के सामने प्रदर्शन किया और ‘अप्राकृतिक’ मौत के जांच की मांग की। समर्थकों ने उप मुख्यमंत्री के निर्माणाधीन बिल्डिंग और दो अन्य सरकारी बिल्डिंगों में आग लगा दी। इतना ही समर्थकों ने एक कॉफिन में भी आग लगा दी जो बाहर से मंगाया गया था। समर्थकों का कहना था कि पुल के शरीर को किसी को छून नहीं दिया जाएगा और उन्हें मुख्यमंत्री आवास परिसर में ही दफन किया जाए। इसके बाद समर्थकों का एक समूह पुल के आवास से 100 मीटर की दूरी पर स्थित उप मुख्यमंत्री चौना मेन के सरकारी आवास की बाहरी दीवार को क्षतिग्रस्त किया और परिसर में मौजूद करीब 10 गाड़ियों को भी क्षतिग्रस्त किया।