आज तमाम एशियाई बाज़ारों में ज़बरदस्त गिरावट देखी गई। सुबह से ही रुझान आने के बाद आज के दिन को ब्लैक मंडे घोषित कर दिया गया था। अमरीका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने जब दो अप्रैल को भारत सहित दुनिया के अधिकतर देशों पर अमरीका आने वाले सामान के लिए आयात शुल्क की घोषणा की थी, तभी से बाजार की सरगर्मियां अलग ही रुख अख्तियार करने लगी थीं।
भारत में इसके चलते सेंसेक्स 2100 पॉइंट्स पिछले हफ्ते गिरा और गिफ्ट निफ्टी फ्यूचर्स ने भी निगेटिव शुरुआत के संकेत दिए। सोमवार सुबह निफ्टी में चार फ़ीसदी से ज़्यादा की गिरावट देखने को मिली। नतीजे में सेंसेक्स में 2,300 पॉइंट से ज़्यादा की गिरावट दर्ज की गई।
स्टॉक मार्केट खुलने के बाद ही 10 प्रतिशत के लोअर सर्किट तक पहुंचा। इसके बाद ये शेयर लोअर सर्किट सीमा को संशोधित कर लगभग 18% की गिरावट के साथ एक साल के निचले स्तर पर पहुंच गया।
अमरीका के एक्सपोर्ट पर निर्भर एशियाई अर्थव्यवस्था को इस फैसले से बड़ा झटका लग सकता है। शेयर बाज़ार पर राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से किये गए सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि बाज़ार में क्या होने वाला है, यह मैं आपको नहीं बता सकता हूं। आगे उन्होंने कहा कि हमारा देश ज़्यादा मज़बूत है। इसका नतीजा सोमवार को एशियाई शेयर बाजारों में बाजार खुलते ही भारी दबाव के साथ होने वाली ट्रेडिंग पर नज़र आने लगा था।
राष्ट्रपति ट्रंप के नए टैरिफ के ऐलान से यह अंदाज़ा लग गया कि वैश्विक व्यापार और आर्थिक विकास को लेकर निवेशकों की चिंता बढ़ गई है। निवेशकों में इस समय यह डर बना हुआ है कि अगर ट्रेड वॉर और गहरा हुआ, तो पूरी दुनिया का व्यापार और सुस्त हो जाएगा। इसका असर कॉरपोरेट कंपनियों की कमाई पर होगा।
अमरीकी बाजारों डाओ जोंस फ्यूचर्स 2.22% तक गिरा, जिससे अमरीका में भी नेगेटिव ओपनिंग का माहौल है। जानकारों के मुताबिक़, इस तरह की बिकवाली की वजह वैश्विक अनिश्चितता है, जो इन टैरिफ्स की वजह से पैदा हुई है।
इन हालत में गोल्ड और बॉन्ड जैसे सुरक्षित निवेश की तरफ लोगों का रुझान होने की उम्मीद की जा रही है।
इसकी चपेट से जापान भी नहीं बचा और निक्केई 225 इंडेक्स यानी 5.79% की गिरावट के साथ सबसे आगे रहा, वहीं हांगकांग का हैंगसेंग इंडेक्स करीब 10% लुढ़क गया।
इस बीच चीन का शंघाई कंपोजिट 6.5% गिर गया। ताइवान का वेटेड इंडेक्स भी 9.61% नीचे आया, जबकि दक्षिण कोरिया का KOSPI इंडेक्स 4.14% घट गया।
ऑस्ट्रेलिया के S&P/ASX 200 इंडेक्स में भी 3.82% की गिरावट से पता चलता है कि केवल बड़ी मैन्युफैक्चरिंग इकोनॉमीज़ ही नहीं, बल्कि समूचा एशिया-पैसिफिक क्षेत्र इस संकट के असर में है।
राष्ट्रपति ट्रंप ने अपने बयान में यह भी कहा कि वह किसी चीज़ में गिरावट नहीं देखना चाहते, मगर कभी-कभी चीज़ें ठीक करने के लिए आपको दवाई लेनी पड़ती है।
अमरीका के राष्ट्रपति ट्रंप ने यह भी दावा किया है कि टैरिफ़ लगने के बाद नौकरियां और निवेश अमरीका में वापस आ रहे हैं और दुनिया जल्द ही अमरीका के साथ बुरा व्यवहार करना बंद कर देगी।